विश्व साक्षरता दिवस पर राज यादव ने कहा 21वीं सदी में निरक्षर रहना बेवकूफी है, साक्षर होने को करें प्रयास!

Sachin Samar
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प्रतिस्पर्धा कोचिंग क्लासेज में अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में प्रतिस्पर्धा कोचिंग क्लासेज के सह संचालक एवं समाजवादी पार्टी लोहिया वाहिनी के पूर्व जिला उपाध्यक्ष राज यादव ने कहा की 8 सितम्बर को हर साल विश्व साक्षरता दिवस मनाया जाता हैं आज के समय में निरक्षर होना एक अभिशाप हैं। 

हर देश अशिक्षा की सामाजिक परेशानी से परेशान हैं इसी दिशा में संयुक्त राष्ट्र संघ द्वारा साक्षरता दिवस हर साल मनाकर लोगों को जागरूक करने का कार्य किया जाता हैं।

देश से निरक्षरता मिटाने के लिए प्रत्येक ग्राम सभा मे दो शिक्षक प्रेरको की नियुक्ति हुई थी जो 14 से 35 वर्ष को लोगो को साक्षर करने का कार्य बखूबी करते थे लेकिन वर्तमान सरकार ने उन्हें 31 मार्च 2018 को प्रेरकों की की संविदा समाप्त कर उन्हें बाहर कर दिया।

 शिक्षित होना अर्थात् अक्षर ज्ञान होना सरल शब्दों में कहे तो साक्षरता का आशय पढने लिखने की क्षमता का होना हैं।

समाज की यह सोच चिंता का विषय हैं दूसरी तरफ 6 से 14 वर्ष की आयु करोड़ों ऐसे बच्चे हैं जो शिक्षा से पूर्ण रूप से कटे हुए हैं या तो वे बाल मजदूरी करते है अथवा उन्हें घर के काम में ही लगा दिया जाता हैं।

हर व्यक्ति का एक उद्देश्य होता है,कि वह एक सफल और खुशनुमा जिंदगी व्यतीत करे और इसी सफल और खुशनुमा जीवन के लिए जरूरी होता है आपका किसी ऊंचे स्तर पर काम करना आज हर किसी की अपेक्षा होती है बड़ा आदमी बनना, पैसा कमाना अच्छा पैसा कमाने के लिए काफी हद तक शिक्षा जरूरी होती है क्योंकि, जबतक आप शिक्षित नहीं है तब तक आ प किसी बड़े स्तर पर काम नहीं कर सकते है।

इस मौके पर संस्थान के संचालक उमेश प्रसाद यादव, शिक्षक एस.के.त्रिपाठी, योग शिक्षक जगदीश यादव, अंजली सिंह, डॉ ममता यादव,आनन्द यादव, नीमा बानो, डॉ के.के. सिंह, सहित तमाम लोग उपस्थित रहे।

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